नहर दो या जहर दो, नहर के लिए 900 दिन धरना दे चुके किसान

आगरा। राजस्थान सीमा से सटे फतेहपुरसीकरी के करीब 50 गांवों के लिए नई नहर निर्माण के लिए आंदोलन जारी है। नई नहर निर्माण संघर्ष समिति के बैनर तले किसान अधीक्षण अभियंता सिंचाई विभाग के प्रतापपुरा स्थित कार्यालय पर धरने पर बैठे हुए हैं। 900 दिन हो चुके हैं इन किसानों को आंदोलन करते हुए। इन आंदोलित किसानों के बैनर पर लिखा है, नहर दो या जहर दो।

Feb 3, 2025 - 16:58
Feb 3, 2025 - 17:01
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नहर दो या जहर दो, नहर के लिए 900 दिन धरना दे चुके किसान
  प्रतापपुरा में सिंचाई विभाग के दफ्तर पर धरना देते किसान।

-फतेहपुरसीकरी क्षेत्र के 50 गांवों में नई नहर की मांग को लेकर आंदोलित हैं ये किसान

-सिंचाई विभाग के दफ्तर पर धऱना दे रहे हैं ये किसान, किसी को नहीं है इनकी फिक्र

 किसानों का आरोप है कि सत्तादल के क्षेत्रीय जन प्रतिनिधियों को प्रभावित ग्रामीणों/किसानों के पीने व सिंचाई के पानी की विकराल समस्या के समाधान में रूचि नहीं है। किसानों के आंदोलन के दबाव में सिंचाई विभाग ने नई नहर निर्माण की संभावना को तलाशने के लिए आईआईटी रुड़की के विशेषज्ञों की टीम ने फिजिबिलिटी सर्वे किया और किसानों की सिंचाई समस्या के निराकरण के लिए सर्वे में सात विकल्प भी निकाले गए।

 किसान मजदूर नेता चौधरी दिलीप सिंह ने बताया कि 15 महीने से जिम्मेदार सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने धरनारत किसानों को नई नहर निर्माण के संदर्भ में कोई भी प्रगति रिपोर्ट की जानकारी नहीं दी है, जिससे धरनारत किसानों में सिंचाई विभाग के अधिकारियों की जनहितकारी परियोजना में लचर पैरवी को लेकर आक्रोश व्याप्त है।

धरने के 900वें दिन मुख्य रूप से दाताराम लोधी, तेज सिंह कुशवाह, सत्यपाल सिंह जूरैल, बाबूलाल प्रधान, सत्यवीर चाहर, अरविंद चौधरी, राजकुमार चौधरी, पिंकी कुशवाहा, रतन सिंह कुशवाह, केशव बघेल, धीरज सिकरवार आदि किसान मौजूद रहे।

SP_Singh AURGURU Editor