आगरा किले में कल शाम जीवंत होगा 264 साल पुराना इतिहास गूंजेगी महाराजा सूरजमल की शौर्यगाथा
आगरा। जाट समाज की वर्षों की मांग पूरी होने जा रही है। कल यानि 12 जून को भरतपुर रियासत के महाराजा सूरजमल की शौर्यगाथा को समर्पित ‘आगरा विजय दिवस’ पहली बार सरकारी स्तर पर आगरा किले के भीतर आयोजित किया जा रहा है।

इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रदेश के संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह होंगे। आगरा किले में जहांगीर महल के सामने यह गौरवपूर्ण आयोजन होगा। महाराजा सूरजमल की वह शौर्यगाथा गूंजेगी जो उन्होंने 12 जून 1761 को अपने पराक्रम से दिखाई थी। कार्यक्रम में नोएडा के ब्रह्मपाल नागर लोक गायन प्रस्तुत करेंगे जबकि भारतेंदु नाट्य अकादमी द्वारा नाट्य प्रस्तुति दी जाएगी। मथुरा के महिपाल और मोहित सिंह बेनीवाल बमरसिया प्रस्तुत करेंगे। झांसी के प्रदीप भदौरिया तुरई से कला का प्रदर्शन करेंगे।
महाराजा सूरजमल का विजय दिवस सरकारी स्तर पर आगरा किले में मनाने के लिए अखिल भारतीय जाट महासभा पिछले कई वर्षों से मांग करती आ रही थी। इस बीच विगत तीन जून को एक अन्य संगठन प्रगतिशील जाट महासभा ने विधायक डॊ. जीएस धर्मेश के साथ सीएम योगी से मुलाकात की और महाराजा सूरजमल का विजय दिवस मनाने का आग्रह किया। इस पर मुख्यमंत्री ने संस्कृति और पर्यटन विभाग को यह कार्यक्रम मनाने का आदेश दिया था।
प्रारंभ में यह बात सामने आई थी कि यह कार्यक्रम आगरा किले के सामने रामलीला मैदान में आयोजित किया जाएगा, लेकिन इस बीच यूपी के संस्कृति विभाग ने पुरातत्व विभाग से किले के अंदर कार्यक्रम करने की अनुमति मांगी, जो मिल चुकी है। इसके बाद यह आयोजन अब किले के अंदर जहांगीर महल के सामने होगा।
इसी सिलसिले में अखिल भारतीय जाट महासभा के एक डेलिगेशन ने क्षेत्रीय पर्यटन अधिकारी से भेंट कर इस मांग को दोहराया था कि कार्यक्रम किले के अंदर होना चाहिए। पर्यटन अधिकारी शक्ति सिंह ने बताया कि यह कार्यक्रम सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त कार्यक्रम के रूप में ही होगा।
महासभा के डेलिगेशन ने पर्यटन अधिकारी से कहा था कि जिस तरह महाराष्ट्र सरकार आगरा किले में शिवाजी महाराज की जयंती मनाती है, उसी तरह 12 जून को ‘आगरा विजय दिवस’ भी हर वर्ष किले के भीतर भव्य रूप से मनाया जाना चाहिए। प्रतिनिधिमंडल ने सुझाव दिया कि इस समारोह में ब्रजमंडल के सर्व समाज, सभी राजनैतिक दलों के जनप्रतिनिधि और सामाजिक संगठन आमंत्रित किए जाएं।
पर्यटन अधिकारी शक्ति सिंह ने यह भी स्पष्ट किया कि यह आयोजन अब पूरी तरह से सरकारी स्तर पर होगा, किसी एक सामाजिक संस्था के नाम से नहीं। कार्यक्रम को राज्य सरकार के वार्षिक कैलेंडर में भी शामिल कर लिया गया है, जिससे इसकी नियमितता और व्यापकता सुनिश्चित हो सके। प्रतिनिधिमंडल ने यह भी आग्रह किया कि इस आयोजन में महाराजा सूरजमल के 14वें वंशज महाराज विश्वेन्द्र सिंह को आमंत्रित किया जाए।
जिलाध्यक्ष कप्तान सिंह चाहर के नेतृत्व में गए प्रतिनिधिमंडल में जिला महामंत्री वीरेन्द्र सिंह छौंकर, जिला उपाध्यक्ष भूपेन्द्र सिंह राणा, चौधरी गुलवीर सिंह, चौधरी नवल सिंह और सत्यवीर सिंह रावत शामिल रहे।